छत्रपति शिवाजी भारतवर्ष की आत्मा में बसते हैं। वे गौरवमयी भारतीय इतिहास के वास्तविक निर्माता हैं। उनके जैसे योद्धा, विजेता, साम्राज्य-निर्माता, प्रजा-वत्सल, धर्मशील और उदार राजा इतिहास में बहुत कम हुए हैं। उन्होंने औरंगजेब जैसे शक्तिशाली मुगल शासक के काल में कोंकण से कर्नाटक तक स्वतंत्र हिन्दू राज्य की स्थापना करके हिन्दू जाति के गौरव को फिर से स्थापित किया। अनेक शहंशाहों एवं बादशाहों ने प्रयास किया कि शिवाजी की शक्ति को कुचल दें किंतु शिवाजी के निश्चय ने इतिहास की दिशा पलट दी और दक्षिण के शक्तिशाली मुस्लिम-राज्य शिवाजी के चरणों में आ गिरे। शिवाजी ने भारत की सोई हुई आत्मा को जगाया, जनता को हिन्दू होने में गर्व का अनुभव करना सिखाया। भारत राष्ट्र और हिन्दू जाति चिरकाल तक उनकी ऋणी रहेगी। इस पुस्तक में छत्रपति की जीवनी, संघर्ष एवं उपलब्धियों को लिखा गया है।
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